धर्म
Pradosh Vrat 2024: प्रदोष व्रत पर राशि अनुसार करें इन चीजों का दान, घर में जल्द बजेगी शहनाई

सनातन धर्म में प्रदोष व्रत का खास महत्व है। प्रत्येक महीने के कृष्ण और शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि पर प्रदोष व्रत विधिपूर्वक किया जाता है। धार्मिक मान्यता है कि प्रदोष व्रत के दिन संध्याकाल में पूजा-अर्चना और दान करने से मनचाहा वर मिलता है और जल्द विवाह के योग बनते हैं। साथ ही जीवन की सभी समस्याओं से छुटकारा मिलता है।
- त्रयोदशी तिथि महादेव को समर्पित है।
- हर महीने में 2 बार प्रदोष व्रत किया जाता है।
- इस तिथि पर भगवान शिव की पूजा की जाती है।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। सनातन धर्म में भगवान शिव को सबसे उच्च स्थान प्राप्त है। प्रदोष व्रत महादेव को समर्पित है। इस दिन भगवान शिव और मां पार्वती की पूजा-अर्चना संध्याकाल में करने का विधान है। धार्मिक मत है कि उपासना करने से जातक के जीवन में खुशियों का आगमन होता है। ऐसे में आप इस दिन राशि अनुसार दान करें। इससे जल्द विवाह के योग बनेंगे और जीवन के दुख-दर्द से छुटकारा मिलेगा।