
छत्तीसगढ़ में नगरीय निकाय चुनाव की हलचल तेज होती दिख रही है क्युकी जनवरी में निकायों का नया कार्यकाल शुरू होने वाला है | रायपुर दक्षिण विधानसभा सीट पर हुए उपचुनाव के बाद अब नगरीय निकाय चुनाव की हलचल होती दिख रही है. माना जा रहा है कि दिसंबर के महीने में वोटर लिस्ट का काम पूरा हो जाएगा, उसके बाद चुनाव आयोग निकाय चुनाव की घोषणा कर सकता है, जिसके बाद राज्य में आचार संहिता लग सकती है. क्योंकि 6 जनवरी तक छत्तीसगढ़ के निगमों और पालिकों में नया कार्यकाल शुरू होना है, ऐसे में माना जा रहा है कि दिसंबर और जनवरी के बीच में ही छत्तीसगढ़ में नगरीय निकाय चुनाव हो सकते हैं. 11 दिसंबर तक निर्वाचक नामावली का अंतिम प्रकाशन होना है. बताया जाता है छत्तीसगढ़ पिछड़ा वर्ग कल्याण आयोग ने भी अपनी सर्वे रिपोर्ट शासन को सौंप दिया है। इसका भी शासन ने अध्यादेश तैयार कर लिया है। दोनों प्रस्ताव को एक साथ अगली कैबिनेट बैठक में मंजूर किया जाएगा। इसके बाद राजपत्र में इसका प्रकाशन किया जाएगा। इसके बाद ही निकायों में महापौर- अध्यक्ष और पार्षदों के लिए लॉटरी से आरक्षण किया जाएगा। जानकारी के अनुसार, छत्तीसगढ़ पिछड़ा वर्ग कल्याण आयोग ने निकाय चुनाव में महापौर-अध्यक्षों और पार्षदों के आरक्षण की 25 सीलिंग को भी हटाने की अनुशंसा की है। इससे कहीं ओबीसी की सीटें बढ़ेंगी तो कहीं पर घटेगी भी। नगर निगम रायपुर में ओबीसी की सीटें भी बढ़ सकती है। वहीं जहां एससी-एसटी की का प्रतिशत कम हैं, वहां ओबीसी की सीटें बढ़ सकती है। शासन ने सुप्रीम कोर्ट के निर्देश अनुसार ही 50 प्रतिशत से अधिक नहीं करने का मासौदा तैयार किया है। इस पर अगली कैबिनेट में मुहर लगना बाकी है।